मन में इक कसक उठी होगी
इक श्वाँस महक उठी होगी.
इक पल को बहक उठी होगी
कहीं कोयल चहक उठी होगी.
चूड़ी जब खनक उठी होगी
पैजनिया झनक उठी होगी.
थोड़ा सा तुनक उठी होगी
बिजुरी सी चमक उठी होगी.
जिस ओर भी पलक उठी होगी
मेरी सूरत झलक उठी होगी.
बारिश को रोक लिया होगा
इक बूँद तो छलक उठी होगी.
अरुण कुमार निगम
आदित्य नगर
दुर्ग (छत्तीसगढ़)
achchi sukomal bhaav liye hue hai aapki yah kavita.very nice.
ReplyDeleteवाह सर !
ReplyDeleteइक बूँद तो छलक उठी होगी.
ReplyDeleteaur jane kitne bhaw , bahut sunder
आज 19- 07- 2011 को आपकी पोस्ट की चर्चा यहाँ भी है .....
ReplyDelete...आज के कुछ खास चिट्ठे ...आपकी नज़र .तेताला पर
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जिस ओर भी पलक उठी होगी
ReplyDeleteमेरी सूरत झलक उठी होगी.
बारिश को रोक लिया होगा
इक बूँद तो छलक उठी होगी.
बहुत ही खूबसूरत भावों का संगम इन पंक्तियों में ।
आज 22- 07- 2011 को आपकी पोस्ट की चर्चा यहाँ भी है .....
ReplyDelete...आज के कुछ खास चिट्ठे ...आपकी नज़र .तेताला पर
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बारिश को रोक लिया होगा
ReplyDeleteइक बूँद तो छलक उठी होगी.
बहुत सुन्दर एवं मर्मस्पर्शी रचना ! हार्दिक शुभकामनायें !
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ReplyDeleteबहुत ही सुन्दर रचना अरुण भाई....
ReplyDeleteमन में इक कसक उठी होगी
इस श्वाँस महक उठी होगी.
शेर के दुसरे मिसरे में ‘इस’ की जगह शायद ‘इक’ होगा क्या?
सादर...
बारिश को रोक लिया होगा
ReplyDeleteइक बूँद तो छलक उठी होगी.
बहुत खूब...
बहुत सुन्दर प्रस्तुति.
ReplyDeleteबहुत ही भावपूर्ण रचना..
ReplyDeleteबारिश को रोक लिया होगा
ReplyDeleteइक बूँद तो छलक उठी होगी.
कोमल अहसासों से परिपूर्ण बहुत भावपूर्ण प्रस्तुति..बहुत सुन्दर
अहा! मन भींग गया। बहुत खूबसूरत!!
ReplyDeletebhaut hi khubsurat panktiya...
ReplyDeleteबहुत ही सुन्दर अभिव्यक्ति है आपकी.
ReplyDeleteमन मगन हो गया पढकर.
आभार.
मेरे ब्लॉग पर आईयेगा,
अरुण कुमार जी
ReplyDeleteबहुत खूब !
बारिश को रोक लिया होगा
इक बूंद तो छलक उठी होगी.
बधाई !
शुभकामनाएं !
-राजेन्द्र स्वर्णकार
जिस ओर भी पलक उठी होगी
ReplyDeleteमेरी सूरत झलक उठी होगी.
वाह ..हर पंक्ति मनोहारी ... सुन्दर प्रस्तुति
Every line is appealing, congrats Arun Bhai.
ReplyDeleteवाह! बहुत सुन्दर
ReplyDeleteखूबसूरत कविता बेहतरीन प्रस्तुती.
ReplyDeleteइक पल को बहक उठी होगी
ReplyDeleteकहीं कोयल चहक उठी होगी
बहुत सुन्दर कविता
सुंदर प्रेमपूर्ण रचना
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ReplyDeleteदिनांक 14/03/2013 को आपकी यह पोस्ट http://nayi-purani-halchal.blogspot.in पर लिंक की जा रही हैं.आपकी प्रतिक्रिया का स्वागत है .
धन्यवाद!
बारिश को रोक लिया होगा
ReplyDeleteइक बूँद तो छलक उठी होगी.
...वाह! बहुत बढ़िया...
मन में इक कसक उठी होगी
ReplyDeleteइक श्वाँस महक उठी होगी.
.......... मेरे जाने के बाद.........अच्छी प्रेमपूर्ण कृति