काऊ
माऊ काऊ माऊ
उड़ी
चिरैया फुर्र रे.


दादा जी के सुन खर्राटे
घुर घुर घुर घुर घुर्र
रे
काऊ माऊ काऊ माऊ
उड़ी चिरैया फुर्र रे.
घर में है नन्हा –सा
टॉमी
पूँछ हिला कर करे सलामी
आये कोई अनजाना तो
करता गुर गुर गुर्र रे.
काऊ
माऊ काऊ माऊ
उड़ी
चिरैया फुर्र रे.
तपत कुरू कहता है
मिट्ठू
उसको मिर्च खिलाये
बिट्टू
मन ललचाये,खुद भी खाये
करता सी - सी सुर्र रे.
काऊ
माऊ काऊ माऊ
उड़ी
चिरैया फुर्र रे.
चुपके आया चूहा चीं चीं
ज्यों बिट्टू ने आँखें
मीचीं
बिस्कुट लेकर बिल में
भागा
खाता कुर कुर कुर्र रे.
काऊ
माऊ काऊ माऊ
उड़ी
चिरैया फुर्र रे.
मोटर लाये मोनू भैया
चले घूमने झुमरीतलैया
इठलाती बलखाती गाड़ी
चलती भुर भुर भुर्र
रे.
काऊ
माऊ काऊ माऊ
उड़ी
चिरैया फुर्र रे..........
अरुण कुमार निगम
आदित्य नगर, दुर्ग (छत्तीसगढ़)
शम्भूश्री अपार्टमेंट, विजय नगर,
जबलपुर (मध्यप्रदेश)